Skip to main content

Posts

Waiting for quinowin

जबसे होश संभाला है मुझे  पिताजी के इतना करीब रहने का मौका कभी नही मिला जितना कि पिछले पांच छः महीने  से मिला है। वैसे भी हमारा रिश्ता साजन फ़िल्म के कादर खान और सलमान भाई वाला बिल्कुल नही है। शेर के सामने बकरी वाला  है। पर  जबसे कोरोना का संकट आया है वो काफी पोजेटिव रहते हैं और मेरे कहानी में दिलचस्पी को देखते हुए प्रोटोकॉल तोड़कर रोज कुछ न कुछ सुनाते रहते हैं । कभी मुहावरा फेंक देते हैं तो कभी इमरजेंसी के  किस्से सुनाने लगते है। बेचारे करे भी तो क्या बंद कमरे में और तो कोई मिल नही  रहा जिससे वो कुछ बतिया सके। मेरे साथ उन्हें भी कैद मिल गई है । दीवाली के बाद किसी कारण से घर गया था वापसी में मम्मी पापा भी आ गए और तब से यहां फंसे हुए हैं ।  रोज शाम को पापा जी पुराने किस्से सुनाते रहते है।    कभी सिमरिया में गंगा पर राजेंद्र पल बनने की कहानी कि जब नेहरू जी पुल का उद्घाटन करने आये थे तब कैसी भगदड़ मची थी और कितने लोग उस भीषण गर्मी में पानी के बिना मर गए थे ।  इतनी भीड़ थी कि पानी ब्लैक में बिक रहा था फिर पुल बनने का दुष्परिणाम-  गंगा की धार मुड़ गई थी और रास्ता छोड़ दिया था , सरकार ने उस बारे मे
Recent posts

क्वारंटाइन

आप इतनी बुजुर्ग हैं, इसके बाद भी आपने घर से चोरों को कैसे भगाया? दादी ने हंसते हुए कहा- ऐसा हुआ कि मैं नीचे हॉल में सोई थी। चोर खिड़की से घर में घुसे। उन्होंने मुझे लात मारकर उठाया। मैं उठी, लेकिन हड़बड़ाई नहीं। चोरों ने पूछा, माल कहां रखा है? तिजोरी किधर है? घर के बाकी मेंबर कहां सोएं हैं? मैंने बिना देर किए तुरंत कहा, सभी पैसा, जेवर लेकर खेत में बने फॉर्म हाउस में रहने गए हैं बेटा। मैं घर में अकेली हूं।  और हां, जाते समय साबुन से हाथ धोकर जाना। कोरोना होने के कारण मुझे यहां क्वारंटाइन किया गया है।

व्यथा

लाइट्स,,,, कैमरा,,,,, ऐक्शन,,,, और वो शुरू हो जाता है.. कभी सोचा है ,,वो कलाकार जो टीवी के ज़रिए लोगों के ड्रॉइंग रूम.. बेडरूम,, यहां तक कि आपके  दिलों तक पहुंच जाते हैं... हंसते हुए.. गाते हुए.. नाचते हुए,  सबका मनोरंजन करते रहते हैं.. बिना थके.. बिना रुके.. बिना शिकायत करे..बिना नियम के,, दिन हो या रात लगातार शूटिंग करते हैं.. पर अब तो सब बंद है.. अब शूटिंग नहीं हो रही.. जानते हैं अब वो सब क्या कर रहे हैं,,? अब डर रहे हैं.. उनके चेहरे से हंसी गायब है.. गाने की हिम्मत नहीं हो रही.. पैर थिरकने की बजाए सुन्न पड़े हैं.. आगे क्या होगा.. ? ज़िंदा कैसे रहेंगे..? दूध का बिल.. महीने का राशन.. घर का किराया.. बिजली का बिल.. गैस का बिल.. बच्चों की फ़ीस...और भी ढेर सारी ज़िम्मेदारियों का क्या होगा ,,,? वो डरा हुआ है ,,,,क्यों,,,? क्यूंकि उसकी  भी एक सामान्य इंसान जैसी ज़रूरतें होती हैं..। आप कहेंगे कि डर कैसा.. शूटिंग शुरू होगी तो सब सामान्य हो जाएगा.. और लोगों के काम भी तो बंद हैं.. वो लोग भी अपने ऑफिस.. अपनी दुकान.. अपनी फैक्टरी खुलने का इंतजार कर रहे हैं.. जैसे ही सब खुलेगा.. काम शुरू होगा.. पै

जॉनी भाई

मुंबई नया- नया आया था और जुहु के यूनिटी कंपाउंड में पेइंग गेस्ट के तौर पर रहता था एक दिन सुबह सुबह शोर सुनकर आंख खुली सब लोग मुझे बिस्तर छोड़ के खड़े हो जाने कह रहे थे  आँख खुली तो देखा  मेरे बिस्तर पर जॉनी लीवर बैठे हुए हैं और मुझे थपथपा रहे हैं मैं नमस्ते करना चाहा कि फिर  एहसास हुआ कि मैं तो बिना कपड़ों के सोया हुआ हूँ इसीलिए दोबारा आँख बंद कर ली चादर  सिर तक  ओढ़ के सो गया  लोग मुझे गाली दे रहे थे बट जॉनी भाई बोल रहे थे नहीं नहीं सोने दे सोने दे  रातभर  काम करके आया है थक गया है बहुत अच्छा लड़का है। और मुझे थपकी देकर सुलाने लगे। मैं खुद को लानत भेजता  चुपचाप लेटा रहा। फिर वो नीचे शूटिंग करने चले गए। तब जाकर मैंने फटाफट दुगुने  कपडे पहने और थोड़े समय बाद जब शॉट ख़त्म हुआ उनसे जाकर मिला और बताया कि मैं  वही हूँ जिसके बिस्तर पर आप अभी आकर बैठे थे। उन्होंने दुबारा शाबासी दी और पूछा हॉटल में काम करते है  बोले नहीं सर  actor हूँ    दिल्ली से आया हूँ  आपके साथ काम मिले न मिले एक पिक्चर ही खिच जाए। उन्होंने तुरंत स्वीकृति दी मेरे photographer   दोस्त M K जो मेरे साथ ही रहता था  ने  ये त

महान कलाकारों के हवाले से

The persistence of Memory by Salvador Dali 1: व्यक्ति अपने दिमाग से पेंट करता है अपने हाथों से नहीं. --माइकलैंजिलो   2:  एक महान कलाकार हमेशा अपने समय से आगे या पीछे होता है. --जॉर्ज एडवर्ड मूर   3:तस्वीर एक कविता है  जिसके शब्द नहीं. -- होरेस   4: एक चित्र हज़ार शब्दों के     बराबर होता है.  --नेपोलियन बोनापार्ट   5:एक मूर्तिकार चीजों को आकार देने में रुचि रखता है, एक कवि शब्दों में और एक संगीतकार ध्वनि में. --हेनरी मूर   6: एक कलाकृति एक अद्वितीय स्वभाव का अद्वितीय परिणाम है. --ऑस्कार वाइल्ड   7: एक लेखक को अपने आँखों से लिखना चाहिए और एक चित्रकार को अपने कानो से चित्रकारी करनी चाहिए. --गैरत्रुद स्टेन    8:विज्ञापन बीसवीं सदी की केव आर्ट हैं . --मार्शल मैकलुहान   9:सभी कलाएं प्रकृति की नक़ल हैं. -- लुसिअस अन्निअस सेनिसा    10:  एक कलाकार को उसकी मेहनत के लिए पैसे नहीं मिलते बल्कि उसकी दूरदृष्टि के लिए मिलते हैं. --जेम्स विस्लर    11: एक कला कार सचमुच कभी अपना काम ख़तम नहीं करता, वो बस उसको छोड़ देता है.  --पॉल वैलेरी   12: कला या तो साहित्यिक चोरी है या फिर एक क्रांति. -- पॉल गौगइन  

चैप्लिन

जब कभी चार्ली चैपलिन का जिक्र करते हैं तो ऐसे शख्‍स की याद आती है, जिसने पूरी जिंदगी हमें हंसाने में गुजार दी. मगर चार्ली की अहमियत यहीं तक सीमित नहीं. उनकी बातें और जीवन को समझने का नजरिया हमें जिंदगी को  आसान बनाने का तरीका सिखा देता है.चैप्लिन के पिता,  चार्ल्स चैप्लिन सीनियर, एक शराबी थे और अपने बेटे के साथ  उनका कम संपर्क रहा,चार्ली जब महज पांच साल के थे तब एक बार उनकी मां स्टेज पर गाना गा रही थीं. उसी समय गले की एक बीमारी के कारण उनकी आवाज बंद हो गई और वो आगे नहीं गा पायीं. इससे वहां मौजूद दर्शक बेहद नाराज हुए और जोर जोर से चिल्लाने लगे. कॉन्सर्ट के मैनेजर ने पांच साल के चार्ली को मंच पर भेज दिया. छोटे से चार्ली ने अपनी मासूम सी आवाज में अपनी मां का ही गाना गया. इससे वहां मौजूद दर्शक बहुत खुश हुए और सिक्कों की बारिश कर दी।  अपनी ज्यादातर फिल्मों में ट्रैंप नाम का किरदार अदा करते थे. माना जाता है कि ये किरदार उनका अपना ही अतीत था जिसे उन्होंने अपने मुफलिसी के दौर में जिया था. इतिहास पर नजर डालें तो पता चलता है कि उस दौर में जब पूरा यूरोप आर्थिक महामंदी की तबाही से गुजर रहा था, चार

घोस्ट राइटर

               शहरों में बारिश  त्योहार की तरह प्रवेश लेता है लोग उसका जश्न मनाते हैं । गर्मी खत्म हो जाती है हल्की हलकी बारिश होती रहती है ऐसे में शराब का लुत्फ मिल जाये तो ज़िन्दगी जन्नत हो जाती है। ऐसे समय मे ही वो यहां आया था । उसका परिवार दूर किसी गांव में रहता था । और उनसे उसका संपर्क लगभग टूट  गया था। वो बहुत कम बार अपने गांव गया था और उसकी स्मृतियां भी कोई खास सुखद नही थी।  पिता प्रॉपर्टी डीलिंग में बेशुमार पैसा कमाते थे। ये अपने पिता से कुछ भी पूछता तो वो पूछते कितने पैसे चाहिए बता दे बाकी सवालों का जवाब देने का मेरे पास वक्त नही है। और दारू या पैसे के नशे में मां की जबरदस्त पिटाई करते थे। उसकी मां बहुत खूबसूरत थी ।वो आठ दस साल का था जब उसके पिता जी मां को पीट रहे थे इसने दारू की बोतल से बाप का सर तोड़ दिया था और सारे पैसे फेंक कर देहरादून चला आया। फिर जब एक बार उसे मां की बहुत याद आई तो वो वापस अल्मोड़ा गया पर अपनी मां से मिल नही पाया शायद पिता की पिटाई से वो चल बसी थी । उसने एकाकी जीवन जिया था ज़िंदा रहने के लिए उसे काफी संघर्ष और जद्दोजहद  से गुजरना पड़ा था ।  उसने